What is Stock Exchange In Hindi






    शेर बाजार में अपना डिमेट खाता खोले



                                         What is Stock Exchange In Hindi


                                                              'अर्थ'

 एक्सचेंज क्या है (What is Stock Exchange In Hindi) स्टॉक एक्सचेंज क्या काम करता है और स्टॉक एक्सचेंज कैसे काम करता है अगर आपने मेरी शेयर मार्किट क्या है वाली पोस्ट नहीं पढ़ी तो उसे भी पढ़ सकते है तो चलिए जानते है स्टॉक एक्सचेंज क्या होता ह


स्टॉक एक्सचेंज क्या है - Stock Exchange Kya Hai 

Stock Exchange वो जगह है जहां सभी कंपनिया लिस्टेड होती है स्टॉक एक्सचेंज किसी कंपनी और निवेशक के बीच में मध्यस्थ का काम करते है जब भी किसी कंपनी को शेयर बाजार से पैसा उठाना होता है तो वह कंपनी अपने आप को स्टॉक एक्सचेंज में लिस्ट करवा लेती है जिससे की लोग उस कंपनी में निवेश कर सके। 


जब कंपनी पहली बार अपने आप को स्टॉक एक्सचेंज में लिस्ट करवाती है तो इस प्रक्रीया को आईपीओ (इनिशियल पब्लिक ऑफरिंग) IPO कहते है। आईपीओ में निवेशक सीधे कंपनी से शेयर खरीदता है उसके बाद एक निवेशक किसी दूसरे निवेशक से शेयर खरीदता और बेचता है। स्टॉक एक्सचेंज में शेयर्स के अलावा बांड्स, डिबेंचर, म्युचअल फण्ड, डेरिवेटिव्स, गवर्नमेंट सिक्योरिटी भी ट्रेड होती है 


 


कोई भी व्यक्ति सीधे स्टॉक एक्सचेंज से Share खरीद नहीं सकता है बल्कि ब्रोकर के पास अपना ट्रेडिंग और डीमैट अकाउंट ओपन करवाना होता है और उस ट्रेडिंग और डीमैट अकाउंट के जरिये शेयर को Buy और Sell करना होता है सभी ब्रोकर स्टॉक एक्सचेंज के मेंबर होते है 


स्टॉक एक्सचेंज का इतिहास - Stock Exchange History 

दुनिया का सबसे पुराना स्टॉक एक्सचेंज सन 1602 में Dutch East India Company द्वारा Netherland में स्थापित किया गया था जिसे आज Euronext Amsterdam Stock Exchange के नाम से जाना जाता है। 


पुराने समय में स्टॉक मार्किट में लेन देन सर्टिफिकेट के रूप में होता था लेकिन वर्तमान समय में इंटरनेट के उपयोग से इलेट्रॉनिक तरीके से शेयर्स को ख़रीदा और बेचा जाता है  


भारत में स्टॉक एक्सचेंज - Stock Exchange In India 

भारत में स्टॉक एक्सचेंज की शुरुआत 1875 में हुयी थी बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज भारत का सबसे पहला और सबसे पुराना स्टॉक एक्सचेंज है जो वर्तमान में भी कार्यरत है 


इस समय भारत में कुल 24 स्टॉक एक्सचेंज है लेकिन उनमें से केवल 2 राष्ट्रीय स्टॉक एक्सचेंज है NSE (National Stock Exchange) और BSE (Bombay Stock Exchange) बाकि 22 क्षेत्रीय स्टॉक एक्सचेंज है सेबी ने 15 क्षेत्रीय स्टॉक एक्सचेंज को अपने काम काज को बंद करने का आदेश दे दिया है भारत में भविष्य के अंदर केवल 2 Stock एक्सचेंज ही प्रमुख रहेंगे NSE और BSE.


 


NSE (National Stock Exchange): NSE भारत का सबसे बड़ा स्टॉक एक्सचेंज है भारत में सबसे ज्यादा खरीदी या बिक्री NSE में होती है NSE की शुरुआत 1992 में हुयी थी NSE भारत का सबसे पहला स्टॉक एक्सचेंज था जिसने इलेट्रॉनिक तरीके से Share को Buy और Sell करना शुरू किया था 


NSE में लगभग 2000 कम्पनिया लिस्टेड है NSE का प्रमुख Index (सूचकांक) Nifty 50 है NSDL NSE के लिए Depository Service प्रोवाइड करती है


NSE के बारे में ज्यादा जानकारी NSE की वेबसाइट https://www.nseindia.com/ से प्राप्त कर सकते है। 


 


BSE (Bombay Stock Exchange): BSE भारत का सबसे पुराना और दूसरा सबसे बड़ा स्टॉक एक्सचेंज है BSE की शुरुआत 1875 में हुयी थी भारत में सर्वप्रथम Equity Derivatives ट्रेडिंग की शुरुआत  BSE ने की थी 


BSE में 5000 से भी ज्यादा कंपनिया लिस्टेड है BSE का प्रमुख Index (सूचकांक) Sensex 30 है CDSL BSE के लिए Depository Service प्रोवाइड करती है  


BSE के बारे में ज्यादा जानकारी BSE की वेबसाइट https://www.bseindia.com/ से प्राप्त कर सकते है। 


MCX (Multi Commodity Exchange): MCX एक कमोडिटी एक्सचेंज है MCX में मुख्य रूप से Bullion में ही ट्रेड होता है जिसका अर्थ है की इसमें केवल कमोडिटी जैसे: Gold, Silver, Crudeoil, Zinc etc ट्रेड होती है। 


MCX के बारे में ज्यादा जानकारी MCX की वेबसाइट https://www.mcxindia.com/ से प्राप्त कर सकते है। 


NCDEX (National Commodity and Derivatives Exchange): NCDEX भी एक कमोडिटी एक्सचेंज है लेकिन इसमें केवल Agriculture Commodity ही ट्रेड की जाती है जैसे: चना, दाल, जीरा, सोया बीन etc ट्रेड होती है। 


 


NCDEX के बारे में ज्यादा जानकारी NCDEX की वेबसाइट https://www.ncdex.com/ से प्राप्त कर सकते है। 


स्टॉक एक्सचेंज कैसे काम करता है - Stock Exchange Work 

जब भी कोई Buyer या Seller ट्रेड प्लेस करते है तो वह ट्रेड सीधा ब्रोकर से होता स्टॉक एक्सचेंज के सर्वर तक जाता है स्टॉक एक्सचेंज एक ट्रेडिंग सिस्टम का इस्तेमाल करता है जो ऑर्डर पर काम करने वाला आटोमेटिक मैचिंग सिस्टम है इस सिस्टम में जो भी व्यक्ति या कंपनी ट्रेड प्लेस कर रहा है उसकी पहचान जाहिर नहीं होती है। 


किसी भी समय बाजार में एक शेयर को खरीदने या बेचने के लिए बहुत सारे लोग उपस्थित होते है ऐसे में जिस व्यक्ति ने पहले आर्डर प्लेस किया है उसका आर्डर पहले ख़रीदा या बेचा जायेगा लेकिन अगर कोई निवेशक पहले आर्डर की तुलना में कम कीमत डालता है तो उसके आर्डर को पहली Priority दी जाएगी  


जब भी कोई निवेशक किसी शेयर कोई खरीदने या बेचने की इच्छा जाहिर करता है और अपने आर्डर को लगा देता है तो स्टॉक एक्सचेंज का ट्रेडिंग सिस्टम अपने आप खरीदने वाले और बेचने वाले को मिलवाकर आर्डर को कम्पलीट कर देता है 


मार्किट में शेयर की कीमत ऊपर जाएगी या नीचे यह बात इससे निर्धारित होती है की मार्किट में बेचने वाले ज्यादा है या खरीदने वाले ज्यादा है अगर खरीदने वाले ज्यादा है तो शेयर ऊपर जायेगा और अगर बेचने वाले ज्यादा है तो शेयर नीचे जायेगा। 


स्टॉक मार्किट मैं कोई  शेयर खरीदने पर हाथो हाथ डीमैट अकाउंट में नहीं आता है क्योंकि भारतीय स्टॉक एक्सचेंज T+2 रोलिंग सेटलमेंट का उपयोग करते है जिसका अर्थ है की आज ख़रीदा हुआ शेयर तीसरे दिन डीमैट अकाउंट में आयेगा।  .


शेर बाजार में अपना डिमेट खाता खोले